पवित्र तीर्थ क्षेत्रों में गायत्री शक्तिपीठों पर जीवन साधना सत्र शृंखला आरंभ
हिमालय की गोद सुन्दरबनी, जम्मू और माँ नर्मदा के उद्गम अमरकंटक, म.प्र. में चल रहे हैं शिविर
सुन्दरबनी, राजौरी। जम्मू
धरती का स्वर्ग कहे जाने वाली देवभूमि की गोद में स्थित गायत्री शक्तिपीठ सुंदरबनी में शान्तिकुञ्ज की प्रेरणा और मार्गदर्शन से पाँच दिवसीय विशिष्ट आत्मविकास साधना सत्रों की शृंखला आरंभ हो गई है। प्रथम सत्र 8 से 13 मार्च 2024 तथा द्वितीय सत्र 19 से 24 मार्च 2024 की तिथियों में अत्यंत सफलतापूर्वक सम्पन्न हुए। प्रथम सत्र को सम्पन्न कराने शान्तिकुञ्ज से श्री पूरन चंद्राकर एवं द्वितीय सत्र हेतु श्री जयराम मोटलानी एवं श्री गणेश सामंत सुन्दरबनी पहुँचे थे।पश्चिमोत्तर जोन प्रभारी शान्तिकुञ्ज प्रतिनिधि प्रो. प्रमोद भटनागर ने इनके विदाई सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि आत्मोत्कर्ष का एकमात्र मार्ग है साधना के माध्यम से अपनी अंत:ऊर्जा को एकाग्र कर उसे सत्प्रयोजनों में लगाना। साधना से ही आत्मशक्तियों का संवर्धन संभव हो पाता है।
सुंदरबनी में चैत्र नवरात्र (9 से 17 अप्रैल 2024) की तिथियों में भी विशेष साधना सत्र आयोजित हो रहा है। इसी प्रकार का नवरात्र साधना सत्र इन्हीं तिथियों में मध्य प्रदेश में नर्मदा उद्गम स्थल पर स्थित पावन तीर्थ अमरकंटक में गायत्री शक्तिपीठ पर आयोजित हो रहा है।